Publish Date: | Tue, 28 Sep 2021 09:05 AM (IST)
Raipur Educational News: रायपुर (नईदुनिया प्रतिनिधि)। छत्तीसगढ़ शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद की ओर से कोरोना काल में कराए गए बेसलाइन आकलन में 71.34 फीसद बच्चों का स्तर बेहतर बताया जा रहा है। कोरोना काल में जहां स्कूल बंद थे और बच्चे आनलाइन पढ़ाई के जरिए ही अध्ययन कर रहे थे, ऐसे समय में शिक्षकों की ओर से किए गए बेसलाइन आंकलन को लेकर सवाल खड़े हो गए हैं। सवाल किसी और ने नहीं, बल्कि स्कूल शिक्षा विभाग के अफसरों ने ही उठाया है।
बेसलाइन आकलन में शिक्षकों ने केवल 28.66 फीसद ही बच्चों को अध्ययनरत कक्षा के लायक नहीं हैं, बताया है। बतादें कि प्रदेश में प्राइमरी और मिडिल स्कूलों में 28 लाख 67 हजार 274 बच्चों में केवल 20 लाख 23 हजार 271 बच्चों का ही आंकलन हो पाया है।
यह कहते हैं आंकलन के आंकड़े
- 28 जिलों से 43 हजार 748 स्कूलों में हुआ आंकलन
- 1,31,160 कुल शिक्षक इस आंकलन के लिए
- 28,67,274 बच्चे प्राइमरी-मिडिल स्कूल में अध्ययनरत
- 20,23,271 बच्चों का हो पाया है आंकलन
- 5, 79, 906 बच्चे कक्षा के लायक नहीं हैं
29 सितंबर तक फिर होगा आंकलन
मामले में स्कूल शिक्षा विभाग के संचालक ने सभी जिला शिक्षा अधिकारियों (डीईओ) को पत्र लिखकर 29 सितंबर तक दोबारा आंकलन करने के लिए कहा है। इसे लेकर शिक्षकों में भी भारी रोष है।
शिक्षा मंत्री से हो चुकी है शिकायत
छत्तीसगढ़ प्रदेश तृतीय वर्ग कर्मचारी संघ ने इस अदूरदर्शिता पूर्ण निर्णय बताकर तत्काल वापस लेने कर की मांग की है। इसके लिए स्कूल शिक्षा मंत्री डा. प्रेमसाय सिंह टेकाम से शिकायत हुई है।
एक बार पिफर आंकड़ों की तस्दीक कर ली जाए
कोरोना काल में स्कूल बंद थे ऐसे में 71.34 फीसद बच्चों का स्तर बेहतर आया तो यह अच्छी बात है। हम चाहते हैं कि एक बार फिर इन आंकड़ों की तस्दीक कर ली जाए इसलिए फिर से आंकलन करने के लिए कहा गया है। – डा. आलोक शुक्ला, प्रमुख सचिव, स्कूल शिक्षा
Posted By: Kadir Khan

