Publish Date: | Sun, 03 Oct 2021 04:19 PM (IST)
Bhopal Arts and Culture News: भोपाल (नवदुनिया रिपोर्टर)। राजधानी में स्थित मप्र जनजातीय संग्रहालय की लिखंदरा दीर्घा में गोंड समुदाय के उदीयमान चित्रकार कौशल प्रसाद तेकाम के चित्रों की प्रदर्शनी ‘शलाका-18’ का प्रदर्शन किया जा रहा है। रविवार से आरंभ हुई यह प्रदर्शनी 30 अक्टूबर तक चलेगी। इस चित्रकला प्रदर्शनी में प्रदर्शित चित्र विक्रय हेतु भी उपलब्ध हैं, जिन्हें चित्रकार से क्रय किया जा सकता है।
वर्ष 1981 में मध्यप्रदेश के डिंडोरी के ग्राम पाटनगढ़ में जन्में कौशल प्रसाद तेकाम गोंड जनजातीय समुदाय के युवा चित्रकार हैं। बचपन में कौशल अपने साथियों के साथ जंगल में कभी खेलने तो कभी गाय-बकरी चराने जाते थे। वहीं खेल-खेल में किसी पोखर-नदी किनारे गीली मिट्टी से खिलौने इत्यादि गढ़ने का खेल भी खेलने लगते। समय-समय पर घर की लिपाई-पुताई में मां एवं बहनों के सहयोग ने भी अपनी परंपराओं से जोड़े रखा। वहीं से कौशल ने अपनी मां से ढिगना बनाना भी सीखा, जिनका समय-समय पर इन्होंने अपने चित्रों में उपयोग भी किया। जिस समय पाटनगढ़ एक कलाग्राम के रूप में विकसित हो रहा था, उस समय वरिष्ठ गोंड चित्रकार आनंद सिंह श्याम ने गांव में युवाओं को प्रशिक्षण देने के उद्देश्य से एक चित्र कार्यशाला आयोजित की, जिसमें प्रत्येक घर से युवाओं को घरों की दीवारों, कागज पर चित्र बनाने के लिए प्रोत्साहित किया गया। कौशल ने अपने 15 वर्ष की चित्रकला यात्रा में मुंबई, दिल्ली, बड़ोदरा, बंगलुरु इत्यादि नगरों में पत्नी मंगली के साथ अपने बनाएं चित्रों को विभिन्न कला दीर्घाओं, कला मेलों में प्रदर्शित किया। देश के विभिन्न शहरों में आयोजित कला शिविरों में भी भागीदारी कर सुंदर चित्रों का सृजन किया है। कौशल को अपने चित्रों में वन्यप्राणी जगत, प्रकृति एवं मनुष्यों के अंतर्संबंधों को चित्रित करना अच्छा लगता है। रंगों का चुनाव वे विषय के अनुरूप ही करते हैं।
Posted By: Ravindra Soni

