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सपा नेता व पूर्व मंत्री ख्वाजा हलीम के बेटे जिबरान ख्वाजा की कार पर मंगलवार रात कुछ लोगों ने चोरों के संदेह में हमला कर दिया। इस दौरान उनकी गाड़ी के पीछे दौड़कर ग्रामीणों ने पत्थर फेंके और सरिया आदि से शीशा तोड़ दिया। उस समय गाड़ी सवार जिबरान को बचाते हुए ड्राइवर सीधे घर ले आए। मामले में बुधवार को तहरीर दी गई है। पुलिस ने इसे गफलत में हुई घटना माना है।
सिविल लाइंस पान वाली कोठी निवासी जिबरान ख्वाजा मंगलवार रात करीब 12:30 बजे अपने जवां क्षेत्र में माधौगढ़ स्थित कृषि फार्म से अपने सलीम, हसन व ड्राइवर जावेद संग कार से लौट रहे थे। जैसे ही उनकी गाड़ी अमरौली पर पहुंची तो वहां उन्होंने देखा कि काफी भीड़ खड़ी है। भीड़ देख उनके ड्राइवर ने गाड़ी की रफ्तार धीमी की, जिसके बाद भीड़ ने उन्हें रास्ता दे दिया।
इस पर ड्राइवर ने गाड़ी आगे बढ़ाई तो पीछे से ग्रामीणों ने पत्थर फेंककर व सरिया आदि के प्रहार से शीश तोड़ दिया। इस हमले को देख कार सवार घबरा गए और सीधे तेज रफ्तार से निकल आए। मामले में रात में ही पुलिस को सूचना दी गई और बुधवार को तहरीर दी गई है।
जिबरान के अनुसार ग्रामीणों ने दिन में इसे गफलत में हुआ हमला ही बताया है। मगर हमारा सवाल है कि अगर यह चोरों के शक में गफलत में किया तो गाड़ी में हमें देखने के बाद हमला क्यों किया। ये कोई साजिश भी हो सकती है।
सीओ तृतीय श्वेताभ पांडेय के अनुसार रात में जब यह सूचना आई तो मैं खुद जवां थाने पर मौजूद था। पुलिस टीम भेजी गई थी। जांच में पाया कि ग्रामीण पशु चोरों की सूचना पर वहां एकत्रित थे। गफलत में गाड़ी पर हमला कर दिया। अब जो तहरीर आई है, उसे भी जांच का हिस्सा बनाया गया है।
सपा नेता व पूर्व मंत्री ख्वाजा हलीम के बेटे जिबरान ख्वाजा की कार पर मंगलवार रात कुछ लोगों ने चोरों के संदेह में हमला कर दिया। इस दौरान उनकी गाड़ी के पीछे दौड़कर ग्रामीणों ने पत्थर फेंके और सरिया आदि से शीशा तोड़ दिया। उस समय गाड़ी सवार जिबरान को बचाते हुए ड्राइवर सीधे घर ले आए। मामले में बुधवार को तहरीर दी गई है। पुलिस ने इसे गफलत में हुई घटना माना है।
सिविल लाइंस पान वाली कोठी निवासी जिबरान ख्वाजा मंगलवार रात करीब 12:30 बजे अपने जवां क्षेत्र में माधौगढ़ स्थित कृषि फार्म से अपने सलीम, हसन व ड्राइवर जावेद संग कार से लौट रहे थे। जैसे ही उनकी गाड़ी अमरौली पर पहुंची तो वहां उन्होंने देखा कि काफी भीड़ खड़ी है। भीड़ देख उनके ड्राइवर ने गाड़ी की रफ्तार धीमी की, जिसके बाद भीड़ ने उन्हें रास्ता दे दिया।
इस पर ड्राइवर ने गाड़ी आगे बढ़ाई तो पीछे से ग्रामीणों ने पत्थर फेंककर व सरिया आदि के प्रहार से शीश तोड़ दिया। इस हमले को देख कार सवार घबरा गए और सीधे तेज रफ्तार से निकल आए। मामले में रात में ही पुलिस को सूचना दी गई और बुधवार को तहरीर दी गई है।
जिबरान के अनुसार ग्रामीणों ने दिन में इसे गफलत में हुआ हमला ही बताया है। मगर हमारा सवाल है कि अगर यह चोरों के शक में गफलत में किया तो गाड़ी में हमें देखने के बाद हमला क्यों किया। ये कोई साजिश भी हो सकती है।
सीओ तृतीय श्वेताभ पांडेय के अनुसार रात में जब यह सूचना आई तो मैं खुद जवां थाने पर मौजूद था। पुलिस टीम भेजी गई थी। जांच में पाया कि ग्रामीण पशु चोरों की सूचना पर वहां एकत्रित थे। गफलत में गाड़ी पर हमला कर दिया। अब जो तहरीर आई है, उसे भी जांच का हिस्सा बनाया गया है।